छत्तीसगढ़ के बस्तर जगदलपुर जिले ने शिक्षा के क्षेत्र में उत्कृष्ट प्रदर्शन करते पर नीति आयोग के द्वारा 3 करोड़ का पुरस्कार दिया गया
मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने बधाई देते हुए कहा कि बस्तर जिले के विद्यार्थियों की मेहनत, शिक्षकों के समर्पण और हमारी सरकार की गुणवत्तापूर्ण शिक्षा व्यवस्था के प्रति प्रतिबद्धता ने जिले को नई ऊंचाइयों तक पहुंचाया है। यह सम्मान पूरे प्रदेश के लिए प्रेरणादायक है। मुख्यमंत्री साय ने कहा कि यह पुरस्कार आकांक्षी जिलों में बुनियादी शिक्षा के सुदृढ़ीकरण और शिक्षा की समावेशी एवं नवाचारयुक्त नीति को आगे बढ़ाने के लिए राज्य सरकार के प्रयासों की सफलता का प्रमाण है।
कलेक्टर एस. हरीश के मार्गदर्शन और जिला पंचायत सी ई.ओ. प्रतीक जैन के निर्देशन में जिला शिक्षा अधिकारी बी.आर. बघेल के अथक प्रयास का ही यह परिणाम है
बस्तर ने शिक्षा को बेहतर बनाने के लिए नई तकनीक का भरपूर उपयोग किया इसके साथ-साथ सबके लिए शिक्षा पर कार्य किया जिले ने यह सुनिश्चित किया कि हर बच्चे को, चाहे वह कहीं भी रहता हो, अच्छी शिक्षा के साथ पढ़ाई को मजेदार और असरदार बनाने के लिए नए तरीके अपनाए गए। और शिक्षा से स्थानीय लोगों और समुदायों को शिक्षा से जोड़ा गया।
बस्तर ने दिखाया कि सही योजना और तकनीक के इस्तेमाल से पिछड़े जिलों में भी शिक्षा को बेहतर बनाया जा सकता है। जिले के प्रयासों से छात्रों को पढ़ाई में मदद मिली, शिक्षकों और छात्रों के बीच संबंध मजबूत हुए और शिक्षा प्रणाली अधिक समावेशी बनी।
यह उपलब्धि दिखाती है कि बस्तर ने शिक्षा में शानदार काम किया है और यह अन्य जिलों के लिए भी प्रेरणा का स्रोत है।
बस्तर संभाग के सभी सातों जिले आकांक्षी हैं बस्तर जिले में 2,356 सरकारी स्कूल, में 1526 प्राथमिक , 638 मिडिल , 76 हाइस्कूल , 101 हायर सेकंडरी , सात एकलव्य और आठ स्वामी आत्मानंद उत्कृष्ट विद्यालय सरकारी क्षेत्र में संचालित हैं इनके अलावा 164 गैर अनुदान और 16 अनुदान प्राप्त स्कूलों का संचालन भी किया जा रहा है।
जिला शिक्षा अधिकारी ने इस पुरस्कार के लिए पूरे शिक्षा विभाग के अधिकारियों, कर्मचारियों शिक्षकों, छात्रों के साथ शिक्षा जगत से जुडे सभी को बधाई दी और उन्होंने कहा हम इस राशि का इस्तेमाल कलेक्टर सर के मार्गदर्शन में शिक्षा को और अधिक बढ़ाने में करेंगे ।