जगदलपुर/सुकमा। सुकमा वन मंडल के नक्सल प्रभावित इलाके के कई समितियां हरा सोना खरीदीको लेकर प्रत्येक सीजन में सुर्खियों में रही है। वन विभाग के कर्मचारियों की उदासिनता एवं ठेकेदारों से सांठगांठका फायदा हरा सोना का ठेकेदार उठा रहे है जिससे संग्राहको के शोषण के साथ-साथ शासन को भी चपत लगाया जा रहा है। इस सीजन में भी कुछ ऐसा ही हुआ है। सुकमा वन मडल के कोंटा और दोरनापाल वन परिक्षेत्र में एक दर्जन से अधिक अवैध रूप से फड़ संचालित कर तेंदूपड्डाा की खरीदी हुई और अब विभाग की उदासिनता के चलते अवैध परिवहन शुरू हो चुका है। दो दिन पूर्व ही मेटागुड़ा से तेंदूपड्डाा का अवैध परिवहन करते हुए दो वाहनों में भरकर हरा सोना शबरी नदी पार उड़ीसा भेजा जा चुका है। आधा दर्जन से अधिक वाहन मेटागुड़ा में 4 दिनों से टीपी नहीं मिलने के कारण खड़ी है। ज्ञातव्य हो कि सुकमा वन मंडल में हरा सोना खरीदी से लेकर परिवहन तक में लाखों करोड़ों का खेल किया जाता है। इस खेल में वन विभाग के शासकीय सेवक का ठेकेदार के साथ सांठगांठ चलता आ रहा है। वन विभाग के सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार कोंटा, गोलापल्ली, पालाचलम,किष्टारम, एर्राबोर सहित अन्य समितियों में तेंदूपत्ता खरीदी से लेकर परिवहन तक लाखों का खेल चल रहा है।जानकारी के अनुसार मेटागुड़ा में तेंदूपत्ता का अस्थाई गोदाम बनाया गया है जहां से परिवहन कर स्थाईगोदाम सुकमा भेजा जाता है यही से लाखों का खेल खेला जाता है। हरा सोना शबरी पार उड़ीसा पहुंचा: जानकारी के अनुसार एर्राबोर समिति के अ एवं ब कोंटा ब समिति में क्रय किया गया तेंदूपत्ता लगभग 2200 मानक बोरा मेटागुड़ा अस्थाई गोदाम में रखा गया था जहां से स्थाई गोदामसुकमा में परिवहन को लेकर वाहन क्रमांक ओडी 30 डी 2353, ओडी 24 जी 2031, ओडी 29पी 1192, सीजी 17 केओ 7700,ओडी 30 ई 2270 सहित अन्य वाहनों में हरा सोना भरकर पिछले पांच दिनों से वाहनों को रखा गया था।
सूत्रों से यह जानकारी मिली है कि बुधवार की रात दो वाहन बिना टीपी के शबरी पार उड़ीसा पहुंच चुका है। इस प्रकार से कई वाहनों से अवैध परिवहन कर हरा सोना उड़ीसा पहुंचाया जा चुका है और विभाग इस अवैध परिवहन पर पर्दा डालने में जुटा है। कमीशन के आड़ में अवैध परिवहन: विशेष सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार समिति प्रबंधक एवं वन विभाग के शासकीय सेवक का ठेकेदार से सांठगांठ कर तेंदूपड्डाा का अवैध परिवहन कर शासन को चपत लगाया जा रहा है। मेटागुड़ा में रखा तेंदूपत्ता का कोंआ के एक स्थानीय ठेकेदार द्वारा खरीदी की गई जा चुकी है। उक्त ठेकेदार के इशारों पर बिना टीपी का तेंदूपड्डाा उड़ीसा भेजे जाने की खबर है वहीं वन विभाग अवैध परिवहन पर पर्दा डालने में जुटा है। टीपी नहीं मिलने से वाहन को खड़ा रखा: मेटागुड़ा में विभग चार से पांच दिनों से तेंदूपत्ता भरकर खड़ी वाहनों के संबंध में विभाग के एसडीओ श्री ध्रुव ने बताया कि टीपी नहीं मिलने के कारण वाहनों को खड़ा रखा गया है। टीपी जारी होते ही स्थाई गोदाम सुकमा भेजे जाने की बात कही। अवैध परिवहन के संबंध में पूछे जाने पर गोल मोल जवाब देते रहे। अवैध फड़ संचालक पर भी विभाग चुप्पी साधे हुए है। अब अवैध परिवहन पर भी विभाग मौन है।