सीटू ने मनाया मजदूर दिवस

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  • श्रम कानूनों में संशोधन का किया कड़ा प्रतिरोध ।

1 मई मजदूर दिवस के अवसर पर हिन्दुस्तान स्टील एम्पलाइज यूनियन सीटू राजहरा के तत्वावधान में खदान श्रमिकों ने पूरे जोश खरोश से मजदूर दिवस मनाया ।

यूनियन के निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार प्रातः 5.30 बजे माइंस आफिस के सामने, तथा 6.00 बजे यूनियन कार्यालय में ध्वजारोहण किया गया ।

शाम 5.00 बजे जैन भवन चौक से एक विशाल मोटरसाइकल रैली का आगाज हुआ, जो बाजार एवं टाउनशिप से गुजरते हुए सरकार की श्रमिक विरोधी नीतियों के खिलाफ नारेबाजी के साथ यूनियन कार्यालय आकर एक आमसभा में तब्दील हो गई।

आमसभा के मुख्य वक्ता छग सीटू राज्य समिति के महासचिव कामरेड एमके नंदी ने मजदूर दिवस के इतिहास पर प्रकाश डालते हुए कहा कि 1 मई 1886 को दुनिया में पहली बार मजदूर आन्दोलन की शुरुआत हुई।सत्ता और पूंजी के गठजोड़ ने जब इस आन्दोलन को कुचलने के मजदूरों पर गोलियां बरसाईं तब मजदूरों के खून से रंगे कपडों से लाल झंडे का जन्म हुआ। तब से आज तक इस लाल झंडे को अपने हाथों में थामें पूरी दुनिया का मजदूर वर्ग अपने हक व हितों की लडाई लड़ रहा है । आन्दोलन के इस सफर में मजदूरों ने बडी कुर्बानी दी है और बहुत सारे अधिकार भी हासिल किए हैं।अब इन अधिकारों को बचाना हमारे लिए अहम चुनौती है। उन्होंने कहा कि हमारे देश की वर्तमान केंद्र सरकार हमें प्राप्त श्रम कानूनों में मालिकपरस्त संशोधन कर हमारे ऊपर थोपना चाहती है। जो हमें कतई मंजूर नहीं है। इसके विरोध में देश के सभी श्रम संगठनों ने 20 मई को राष्ट्रीय आम हडताल की घोषणा की है।

छग सीटू राज्य समिति के कार्यकारी अध्यक्ष कामरेड एस पी डे ने कहा कि श्रम कानूनों में संशोधन के खिलाफ 20 मई को होने वाली हड़ताल देश की अब तक की सबसे बड़ी हड़ताल होगी। जिसमें मजदूर वर्ग केंद्र सरकार को आईना दिखाने में सफल रहेगा। उन्होंने कहा कि श्रम कानून में जो संशोधन किए गए हैं वह पूरी तरह से मालिकों के पक्ष में है और श्रमिकों को गुलाम बनाने की साजिश की जा रही है। इस विषय पर कामरेड एस पी डे द्वारा विस्तार रूप में एक पावर प्रजेंटेशन का कार्यक्रम भी प्रस्तुत किया गया जिसे उपस्थित लोगों ने बहुत ही पसंद किया । सीटू राजहरा के अध्यक्ष कामरेड पुरषोत्तम सिमैया ने कहा कि 139 सालों से मजदूर दिवस मनाते हुए श्रमिक प्रबंधन एवं मालिकों के बर्ताव के खिलाफ संघर्षरत है, फिर भी एक इंसान होने का संपूर्ण दर्जा भी मजदूर वर्ग ने अब तक हासिल नहीं किया है। यह लड़ाई लंबी चलेगी। सीटू राजहरा के कार्यकारी अध्यक्ष ज्ञानेंद्र सिंह ने कहा कि दल्ली राजहरा आंदोलनों की नगरी है, यहां मजदूर जितने हर्षोल्लास के साथ मजदूर दिवस मनाते हैं, उतने ही हर्षोल्लास और जोश खरोश के साथ आंदोलन में भी हिस्सेदारी करते हैं। दल्ली राजहरा की सभी यूनियनें मजदूर हितों की रक्षा के लिए पूरी तरह सजग व प्रतिबद्ध हैं। सीटू सचिव प्रकाश सिंह क्षत्रिय ने कहा कि मजदूरों ने जो भी हासिल किया है वो संघर्षों से ही पाया है इसलिए दल्लीराजहरा की सभी यूनियन एवं श्रमिक साथी 20 मई की हड़ताल को एतिहासिक रूप से सफल बनायेंगें ।इस मजदूर दिवस का यही संकल्प है।

मजदूर दिवस के इस विशाल कार्यक्रम को सफल बनाने में कामरेड विनोद मिश्रा, कामरेड चार्ली वर्गिस, कामरेड जे गुरूवुलू , कामरेड सुजीत मुखर्जी, कामरेड मुकेश मानस,कामरेड आलोक श्रीवास्तव,कामरेड अशोक गुलबाके, कामरेड रामाधीन, कामरेड प्रशांत त्रिवेदी, कामरेड संजीत टेमरे, कामरेड इन्द्रदमन सिंह, कामरेड शशि, कामरेड नकुल, कामरेड सुनील, कामरेड आशा साहू, कामरेड रिपु,कामरेड गिरीश, कामरेड मनीष बाग, कामरेड यशवंत सिंह, कामरेड फिरत, कामरेड गंगाधर साहू, कामरेड सुभाष, कामरेड मंगेश, कामरेड अजय,कामरेड ओमप्रकाश साहू, कामरेड दीपक सोना, सहित सैकडों साथियों ने सक्रिय भूमिका अदा की।