देश में सबसे कम बेरोजगारी वाले राज्यों में छत्तीसगढ़ अव्वल

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विकास के छत्तीसगढ़ मॉडल ने पूरे देश में फिर लहराया परचम

रायपुर। सेंटर फॉर मॉनिटरिंग इंडियन इकोनॉमी (सीएमआईई) की ओर से जारी बेरोजगारी के नए आंकड़ों के अनुसार मार्च में छत्तीसगढ़ में बेरोजगारी दर अब तक के सबसे न्यूनतम स्तर 0.6 प्रतिशत पर पहुंच गई। यह देश भर में सबसे कम बेरोजगारी दर है। सबसे कम बेरोजगारी दर वाले राज्यों में छत्तीसगढ़ देश में अव्वल है। जबकि मार्च में ही देश में बेरोजगारी दर 7.5 प्रतिशत रही।

भारतीय अर्थव्यवस्था पर नजर रखने वाले थिंक टैंक सीएमआईई ने मार्च की मासिक रिपोर्ट 2 अप्रैल को जारी की है। इसके मुताबिक देश में बेरोजगारी दर 7.5 प्रतिशत रही है। नया सूचकांक बताता है कि गांवों की अपेक्षा शहरों में बेरोजगारी अधिक है। मार्च महीने में देश की शहरी बेरोजगारी दर 8.5 प्रतिशत रही वहीं ग्रामीण बेरोजगारी दर 7.1 प्रतिशत आंकी गई। नए आंकड़ों ने छत्तीसगढ़ की बेरोजगारी दर को 0.6 प्रतिशत बताया है।

सबसे अधिक बेरोजगारी हरियाणा में 26.7 प्रतिशत है। राजस्थान और जम्मू-कश्मीर में 25-25 प्रतिशत, झारखंड में 14.5 प्रतिशत, बिहार में 14.4 प्रतिशत, त्रिपुरा में 14.1 प्रतिशत और हिमाचल प्रदेश में 12.1 प्रतिशत बेरोजगारी दर बताई जा रही है। सेंटर फॉर मॉनिटरिंग इंडियन इकोनॉमी ने मार्च के दूसरे सप्ताह में बेरोजगारी के जो अपडेट आंकड़े जारी किए थे, उसमें छत्तीसगढ़ की बेरोजगारी दर 1.7 प्रतिशत बताया था। यानी प्रदेश के प्रत्येक 100 लोगों में से बमुश्किल दो लोग ही बेरोजगार थे। मार्च माह के अंतिम आंकड़ों में यह दर और भी गिर गई है।

हमारे हर प्रयास में हमारी जनता भागीदार-मुख्यमंत्री

ताजा आंकड़ों से मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने सोमवार को उन्होंने सोशल मीडिया पर लिखा, अब छत्तीसगढ़ में बेरोजगारी दर सबसे कम है। 0.6 प्रतिशत बेरोजगारी दर के साथ छत्तीसगढ़ देश में सबसे कम बेरोजगारी दल वाला राज्य बन गया है। वहीं राष्ट्रीय बेरोजगारी दर 7.6 प्रतिशत है। हमारे हर प्रयास में हमारी जनता भागीदार है, सबको बधाई।

छत्तीसगढ़ मॉडल से ग्रामीण अर्थव्यवस्था सुधरी

छत्तीसगढ़ सरकार ने तीन साल पहले महात्मा गांधी के ग्राम स्वराज्य की परिकल्पना के सुराजी ग्राम योजना का नया मॉडल अपनाया था। उसके तहत गांवों और शहरों के बीच आर्थिक परस्परता बढ़ाने पर जोर दिया गया है। इसी मॉडल से गांवों के आर्थिक सशक्तिकरण के लिए सुराजी गांव योजना, नरवा-गरुवा-घुरवा-बाड़ी कार्यक्रम, गोधन न्याय योजना, राजीव गांधी किसान न्याय योजना, राजीव गांधी ग्रामीण भूमिहीन कृषि मजदूर न्याय योजना, रुलर इंडस्ट्रियल पार्कों की स्थापना, लघु वनोपज के संग्रहण एवं वैल्यू एडिशन, उद्यमिता विकास जैसी योजनाओं और कार्यक्रमों का क्रियान्वयन किया जा रहा है। इन योजनाओं से ग्रामीण क्षेत्रों में रोजगार के नये-नये अवसर निर्मित करने का दावा किया जा रहा है।