सप्तमी के अवसर पर नौ कन्या भोज नई परंपरा देखने को मिली

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दुर्गा सप्तमी के अवसर पर माँ जगदम्बा की प्रतिमूर्ति नौ कन्याओं को कन्या भोज कराया गया। अधिकांश अष्टमी या नवमीं को नौ कन्या भोज कराया जाता है परंतु सप्तमी के अवसर पर नौ कन्या भोज की यह नई परंपरा देखने को मिली।

श्री दुर्गा का सप्तम रूप माँ कालरात्रि हैं. ये काल का नाश करने वाली हैं, इसलिए कालरात्रि कहलाती हैं. नवरात्रि के सप्तम दिन इनकी पूजा और अर्चना की जाती है. इस दिन साधक को अपना चित्त भानु चक्र (मध्य ललाट) में स्थिर कर साधना करनी चाहिए. संसार में कालो का नाश करने वाली देवी कालरात्री ही है. भक्तों द्वारा इनकी पूजा के उपरांत उसके सभी दुःख, संताप भगवती हर लेती है.

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