नितिन गडकरी ने 33 हाइवे प्रोजेक्‍ट का किया शिलान्‍यास, बोले- पांच साल में अमेरिका से अच्‍छी होंगी छत्‍तीसगढ़ की सड़कें

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एथेनाल भविष्य का फ्यूल; रायपुर से दुर्ग चला देंगे रोड ट्रेन, सस्ते ब्रिज निर्माण का दिया आइडिया

मुख्यमंत्री साथ दें तो 2024 तक 1 लाख करोड़ की रोड बनवाएंगे

रायपुर केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने छत्तीसगढ़ की सरकार से कुछ प्रोजेक्ट पर खास तौर पर काम करने को कहा है। उन्होंने मंच से एलान करते हुए कहा कि इन प्रोजेक्ट्स पर सब्सिडी से लेकर फंड तक की कोई चिंता करने की जरूरत नहीं है। केंद्र पूरा सहयोग करते हुए लोगों की सुविधा के लिए काम करेगा। रायपुर के अंबेडकर अस्पताल कैंपस में बने ऑडिटोरियम में 9 हजार 240 करोड़ के रोड प्रोजेक्ट्स का शिलान्यास और लोकार्पण करने पहुंचे थे। उन्होंने इस दौरान छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री से बात करते हुए दिलचस्प आइडिया शेयर करते हुए इन दिशाओं पर काम करने को कहा।

कार्यक्रम के दौरान उन्होंने मंच से लोगों का दिल जीतने वाली कुछ बातें भी कहीं। नितिन गडकरी ने कहा कि हम आने वाले 5 साल में छत्तीसगढ़ में ऐसी रोड बनवा देंगे जो अमेरिका के बराबर होंगी। उन्होंने बात को आगे बढ़ाते हुए कहा कि मैंने अपने दफ्तर में अमेरिकी राष्ट्रपति केनेडी की कही एक बात को चिपका कर रखा है। वह कहा करते थे कि अमेरिका धनवान है, इस वजह से वहां की रोड अच्छी नहीं है, बल्कि रोड अच्छी है इस वजह से अमेरिका धनवान है । गडकरी बोले, सड़कों के विकास का महत्व समझाने वाली इन बातों को मैं हमेशा महत्व देता हूं मैं हमेशा मानता हूं और चाहता हूं कि इसी पथ पर छत्तीसगढ़ भी आगे बढ़े। नितिन गडकरी ने छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल से आग्रह करते हुए कहा कि जमीन और फॉरेस्ट क्लीयरेंस के मामलों को आप जितनी जल्दी आगे बढ़ाते जाएंगे, मैं वादा करता हूं कि साल 2024 तक छत्तीसगढ़ को एक लाख करोड़ की सड़कें बनाकर एनएचएआई के तरफ से दी जाएंगी।

विकास का मंत्र

नितिन गडकरी ने इस दौरान कहा कि किसी भी राज्य के विकास के लिए महत्वपूर्ण है पानी, पावर कम्युनिकेशन, और ट्रांसपोर्ट इन बातों को ध्यान में रखते हुए ही कोई भी राज्य आगे बढ़ सकता है। छत्तीसगढ़ में भी हमें ऊर्जा संचार यातायात और पानी से संबंधित व्यवस्थाओं पर ध्यान देना होगा । इससे कृषि बढ़ेगा कृषि बढ़ेगा तो किसानों की आर्थिक स्थिति होगी अच्छी होगी। पानी और ट्रांसपोर्टेशन कम्युनिकेशन अच्छा होने से प्रदेश में उद्योग आएंगे जिसकी वजह से लोगों को रोजगार भी मिलेगा और गरीबी दूर होगी।

पेट्रोल की महंगाई से बचने का आइडिया

गडकरी मंच से बोले- पेट्रोल डीजल के भाव बढ़ गए है। मैं ट्रांसपोर्ट मंत्री हूं इस टेक्नोलॉजी पर काम हो रहा है कि अब गाड़ियों में पेट्रोल की जगह 100 परसेंट एथेनॉल डालकर चला सकते हैं । टोयटा, हुंडई, सुजुकी जैसी कंपनियों ने मुझसे कहा है कि वो 6 महीने में ऐसी गाड़ी मार्केट में ला रहे हैं। बजाज ने स्कूटर और बाइक तो लॉन्च कर दिया है फ्लेक्सी इंजन पर। एथेनॉल भविष्य का फ्यूल है किसानों का फ्यूल है ।

उन्होंने सीएम बघेल से कहा कि मैं आपसे अनुरोध करूंगा अब पेट्रोल के बजाए एथेनॉल पंप शुरू करने की अनुमति भारत सरकार ने दी है। इसलिए गन्ने से, राइस से जो एथेनॉल बनाने की बात है आप इसे शुरू करें, छत्तीसगढ़ से पेट्रोल गायब हो जाएगा, पेट्रोल की जरूरत नहीं पड़ेगी। इस देश का किसान अन्नदाता है इस देश के किसान को ऊर्जा दाता बनाना है। आप इस ओर ध्यान दें।

सस्ते पब्लिक ट्रांसपोर्ट का आइडिया

मुख्यमंत्री से गडकरी बोले- आपने ट्राम देखी होगी वो लोहे के चक्के वाली। मगर अब युरोपियन कंट्री में ट्रॉली बस, रोड ट्रेन आ गई है वो टायर पर चलती है। दो बस को जोड़कर बनाते हैं, वो ऊपर केबल से जुड़ी होती है बिजली से चलती है। रायपुर से दुर्ग 32 किलोमीटर है। हम वहां अब 4 ब्रिज तो बना रहे हैं। मैं आपसे अनुरोध करता हूं एक केबल डाल देंगे हम एनएच पर। फिर वहां डबल डेकर, रोड ट्रेन, बस भी चल सकती है । इस पर मैं सब्सिडी देने की बात सोच रहा हूं । यहां से सफर 30 मिनट में हो जाएगा। 50 टके बस का किराया घट जाएगा। गरीबों को एसी बस में घुमाओ। आप पहला प्रोजेक्ट रायपुर से दुर्ग तक भेज दो, आपको पैसे देने की कोई जरूरत नहीं है, मैं अपने विभाग के पैसे से सब करा दूंगा। हमारे महाराष्ट्र परिवहन की डीजल बसों में हॉर्न छोड़कर सब बजता है। आप इलेक्ट्रिक एसी बस लाइए, हमें थोड़ा बिजली सस्ते में दे दीजिए पूरी केबल सभी नेशनल हाइवे पर लगाएंगे, डबल ट्रेन बस शुरू कर दें देखिएगा लोग अपनी गाड़ियों की बजाए इसमें जाना शुरू कर देंगे, सुविधा मिलेगी ये मेरा आपसे अनुरोध है।

सस्ते ब्रिज निर्माण का आइडिया

गड़करी ने बताया कि अब पुल बनाने में हम ग्लास फाइबर काे यूज करेंगे। उन्होंने कहा- मलेशिया से एक तकनीक हम लेकर आए हैं, पूना में इसके प्लांट शुरू किए हैं। इसमें हम स्टील के जिसमें आम तौर पर दो पिलर्स में 30 मीटर का गैप होता है। इसे अब 120 मीटर तक बढ़ा सकते हैं। इससे कॉस्ट 40 प्रतिशत तक कम हो जाएगी। इसमें ऊपर की तरफ लगने वाला, स्टील फाइबर छत्तीसगढ़ में बन सकता है।

हम इसकी पूरे देश फैक्ट्री डाल रहे हैं। मैं असम गया था। वहां सोनवाल जी के प्रचार में उनके आग्रह पर मैंने ब्रह्मपुत्र नदी पर ब्रिज बनाने का एलान कर दिया। दिल्ली आकर देखा तो ब्रिज की कॉस्ट 6 हजार करोड़ बैठ रही थी। मैं परेशान हो गया। मगर जब रिसर्च की तो अब वही ब्रिज टेक्नोलॉजी की मदद से 650 करोड़ में बन सकता है। प्री कास्ट का उपयोग छत्तीसगढ़ में करें, फायदा होगा।