ज्ञानयज्ञ: श्रीमद् भागवत महापुराण श्रवण करने पहुंच रहे भक्त

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  • मां सुनीति हो तो हर बेटा ध्रुव होगा

जगदलपुर :- मां जैसी भी हो संतान का भला चाहती है किंतु मां के संस्कारों का असर संतानों पर पड़ता है। मां सुनीति जैसी मां हो तो हर बेटा ध्रुव होगा। बुजुर्ग हमें डांटते हैं तो उसके पीछे भी हमारा हित छिपा होता है। हर व्यक्ति का जीवन सुनीति और सुरुचि ही निर्धारित करता है। उक्त बातें स्वतंत्रता संग्राम सेनानी तथा गोवा मुक्ति संगठन सदस्य खूबीराम कश्यप जन्म शताब्दी वर्ष के अवसर पर मां दंतेश्वरी मंदिर की यज्ञशाला में आयोजित भागवत महापुराण ज्ञान यज्ञ सप्ताह के तीसरे दिन शुक्रवार को कही।


भागवत कथा के दौरान बालक ध्रुव और प्रहलाद चरित्र की कथा बांचते हुए माता सुनीति द्वारा ध्रुव को कहे शब्दों को दोहराया कि सामान्यत: पिता की गोद में तो सभी बच्चे बैठते हैं। बैठना ही है तो जगत पिता की गोद में बैठो। उन्होने कहा कि प्रभु का दर्शन करना है तो पहले भ्रम को हटाएं। अपने देवी- देवाताओं की शक्ति और वेद – पुराण में वर्णित ज्ञान को आत्मसात करें। धर्म बदल कर अपनी पहचान न खोएं। गो पालक गोपाल – श्री कृष्ण हैं। उनकी जगह गौ मांस खाने वाले लोगों की फोटो घर में लगाएंगे तो वास्तुदोष तो होगा ही।
ध्रुव और प्रहलाद की कथा सुनाते हुए उन्होने बताया कि पहले स्कूली पाठ्यक्रम में नैतिक शिक्षा के तहत हम ध्रुव, बुद्ध, महावीर, गुरुनानक देव, हजरत मोहम्मद, ईसा मसीह आदि की प्रेरक जीवनी पढ़ा करते थे। अब बच्चों को नैतिक शिक्षा नहीं दी जा रही है इसलिए हमारे बच्चों में व्यवहार – संस्कार का अभाव देखा जा रहा है। वे अपने महापुरुषों, ऐतिहासिक, सांस्कृतिक, पौराणिक स्थलों से अनभिज्ञ हैं। इन बातों को नैतिक शिक्षा के रूप में पाठ्यक्रम में अनिवार्य रुप से शामिल किया जाना चाहिए।