- कांग्रेस के युवा मुस्लिम नेता अयान अहमद ने बचाई घायल बछड़े की जान
दल्लीराजहरा खनिज नगरी दल्ली राजहरा में कार्यरत शासकीय वेटरनरी डॉक्टर की लापरवाही और कर्तव्य के प्रति उदासीनता चरम पर है। घायल और बीमार मवेशियों के इलाज में कोताही आम बात हो गई है। उन्हें पशु पालकों से कमाई करने से ही फुरसत नहीं मिलती, तो भला बेसहारा मवेशियों की फिक्र वे क्यों करें? ऐसा ही एक मामला यहां तब सामने आया, जब एक घायल बछड़ा सड़क पर तड़पता पड़ा रहा। बार बार फोन करने के बाद भी वेटरनरी डॉक्टर मौके पर नहीं पहुंचे। तब युवा कांग्रेस के नगर अध्यक्ष अयान अहमद ने अपने एक साथी की मदद से बछड़े का उपचार किया।
अयान अहमद ने बताया कि बीती रात के करीबन 10 से 11 बजे के बीच गाय के एक बछड़े को किसी अज्ञात 14 चक्का हाइवा टक्कर मारकर तेज रफ्तार से भाग गया। हादसे में बछड़े को गहरी चोट आई थी। बछड़े की स्थिति बहुत ही ज्यादा खराब थी। वहां से गुजरते हुए अयान अहमद ने गाड़ी रोक कर बछड़े की जान बचाने का संकल्प लिया।अयान अहमद ने शासकीय पशु चिकित्सालय चिकलाकसा के डॉक्टर को फोन के माध्यम से सूचना दी। मगर डॉक्टर द्वारा किसी भी तरह की दिलचस्पी नहीं ली गई और ऊपर से इलाज करने भी नहीं आया। इलाज में देरी होने से बछड़े की जान पर खतरा और भी ज्यादा बढ़ गया। डॉक्टर की लापरवाही और निर्ममता का यह बड़ा नमूना था। अयान अहमद ने बछड़े की जान बचाने के लिए नगर में स्थित दूध डेयरी वाले अपने दोस्त आशीष तिवारी को फोन के माध्यम से सूचना दी। आशीष तिवारी ने तुरंत मौके पर जाकर बछड़े को उठाया और मरहम पट्टी कर उसके जख्मो पर दवाई लगाकर उसका इलाज किया।
क्या कहता है नियम
एक पशु चिकित्सा अधिकारी की विशिष्ट जिम्मेदारियां होती हैं। देश की पशु स्वास्थ्य और पशु संरक्षण सेवा और पशु चिकित्सा सार्वजनिक स्वास्थ्य सेवा को व्यवस्थित और संचालित करना उनका कर्तव्य है। पशुओं की खाद्य श्रृंखला सुरक्षा, ज़ूनोज का नियंत्रण, पर्यावरण प्रदूषण और समाज में जानवरों की भूमिका शामिल है। पशु चिकित्सक सबसे अधिक आवश्यकता होने पर पशुओं को चिकित्सा और आहार संबंधी देखभाल प्रदान करने के लिए जिम्मेदार होते हैं। वे अपने पेशेवर कौशल और व्यक्तिगत आचरण दोनों में उत्कृष्टता के उच्च मानक को बनाए रखने के लिए काम करते हैं ताकि विशेष रूप से पालतू जानवर की जरूरतों के अनुरूप दयालु उपचार सिफारिशें प्रदान की जा सकें।