जैन श्री संघ द्वारा मुमुक्षु बहन का स्वागत अभिनंदन किया गया

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कुसुमकसा – जैन श्री संघ कुसुमकसा द्वारा मुमुक्षु बहन सुश्री सिद्धि नाहर का कुसुमकसा आगमन पर देवराज रायसोनी के निवास पर स्वागत व अभिनन्दन करते हुए सम्मान किया गया। मुमुक्षु सिद्धि नाहर धमतरी (बोरझरा) निवासी वीर पिता श्री किशोर जी नाहर व वीर माता श्रीमती ललिता जी नाहर की सुपुत्री है.! मुमुक्षु सिद्धि दि. 03 अगस्त 22 को आचार्य श्री रामलाल जी म.सा. के मुखारविन्द से उदयपुर (राजस्थान) में दीक्षा अंगीकार करेगी , मुमुक्षु बहन सिद्धि नाहर ने व्यवहारिक शिक्षा एम काम व पी जी ङी सी ए की परीक्षा पास की है व विगत 4 वर्षों से वेराग्यकाल में रहते हुए धार्मिक अध्ययन ,धोकडे ,धार्मिक शिक्षा, धार्मिक परीक्षा देते हुए लगभग 700 किलोमीटर की पदयात्रा भी की है ,


उपस्थित जैन श्री संघ के सदस्यों से मुमुक्षु बहन सिद्धि नाहर ने कहा कि संयम जीवन ही सार है दुनिया देखी और शिक्षा ग्रहण की लेकिन मुझे संतो का सानिध्य और दीक्षा का मार्ग ही रास आया, इसी राह पर आत्मिक सुकून और परमात्मा की प्राप्ति हो सकती है इसलिए वैराग्य धारण कर रही

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इस अवसर पर जैन श्री संघ कुसुमकसा के प्रकाशचंद कुचेरिया ,सुरेश गुणधर ,कंवरलाल कुचेरिया ,प्रेमचंद छाजेड़ ,अनिल सुथार ,किशोर बाफना,देवराज रायसोनी ,नितिन जैन ,प्रकाशचंद गुणधर ,मुकेश गुणधर,दिनेश रायसोनी, श्रीमती कमला बाई गुणधर ,श्रीमती श्यामाबाई कोटड़ीया, श्रीमती कंवरी बाई रायसोनी, श्रीमती पारसबाई छाजेड़ श्रीमती सोनल गुणधर , श्रीमती पुष्पा सुथार, श्रीमती सुशीला सुथार श्रीमती भारती रायसोनी, श्रीमती कीर्ति कुचेरिया, श्रीमती मनीषा रायसोनी ,श्रीमती पुष्पा सुथार ,श्रीमती राहुल रायसोनी,मुनमुन ,संयम कुचेरिया, समकित रायसोनी ,आदि कुचेरिया ,सहित जैन श्री संघ के महिला पुरूष सदस्य उपस्थित थे