भ्रष्टाचार के असली खिलाड़ी तो कांग्रेस और भाजपा के नेता हैं

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  • शिक्षकों के तबादले, पदोन्नति और पदस्थापना के खेल में दोनों दलों के नेताओं ने कमाए करोड़ों
  • राजनैतिक दबाव डालकर बस्तर के जिला शिक्षा अधिकारी को कर दिया गया था मजबूर


अर्जुन झा –
जगदलपुर. शैक्षणिक जिला बस्तर में शिक्षकों की पदोन्नति, पदस्थापना और स्थानांतरण में हुए करोड़ों रु. के भ्रष्टाचार में कांग्रेस और भाजपा के कई नेताओं के नाम अब सामने आने लगे हैं. भ्रष्टाचार के इस खेल के असली खिलाड़ी दरअसल यही नेता रहे हैं. इन नेताओं के दबाव में जिला शिक्षा अधिकारी को नाजायज फैसले लेने के लिए मजबूर होना पड़ा था. भ्रष्टाचार की इस राजनैतिक
जुगलबंदी में बस्तर के सभी विकासखंडों के कांग्रेस और भाजपा के अनेक बड़े नेताओं की संलिप्तता की बात उजागर हुई है. इससे जहां छत्तीसगढ़ की भूपेश बघेल सरकार की छवि खराब हो रही है, वहीं कांग्रेस को भ्रष्टाचार की जननी कहने वाली भाजपा का दोमुहा चेहरा भी जनमानस के सामने आ गया है.

  बस्तर शिक्षा जिले में कुछ माह पहले प्राथमिक और पूर्व माध्यमिक शालाओं के लगभग बारह सौ सहायक शिक्षक - शिक्षिकाओं की पदोन्नति प्रधान पाठक पद पर हुई थी. पहले पदोन्नति दिलाने के नाम पर करोड़ों रुपयों की उगाही शिक्षकों से की गई. इसके बाद पदोन्नत शिक्षक -शिक्षिकाओं की पदस्थापना के लिए प्रति शिक्षक एक से डेढ़ लाख रु. तक वसूले जाने की बात सामने आई थी. इसके अलावा शिक्षा विभाग तथा आदिम जाति विकास विभाग के शिक्षक - शिक्षिकाओं के स्थानांतरण के नाम पर भी करोड़ों रु. के वारे न्यारे किए गए. बस्तर जिले के सभी विकास खंडों के कांग्रेसी व भाजपा नेताओं द्वारा इस वसूली कांड को अंजाम दिए जाने की खबर है. इन नेताओं ने अपनी झोली खूब भर ली और जिला शिक्षा अधिकारी पर  पदोन्नति देने तथा पदस्थापना व तबादला करने के लिए इस कदर दबाव डाला कि मजबूर होकर जिला शिक्षा अधिकारी को नियमों के विपरीत फैसले लेने पड़े. कहा जाता है कि इन नेताओं द्वारा जिला शिक्षा अधिकारी को निलंबित या ट्रांसफर करा देने की धमकी तक दी जाती थी. जिला शिक्षा अधिकारी के सामने एक तरफ कुआं, तो दूसरी तरफ खाई वाली परिस्थिति निर्मित हो गई थी. लिहाजा उन्होंने वैसा ही किया जैसा कि कांग्रेस और भाजपा के नेता चाहते थे. इसके दुष्परिणाम कुछ ही दिनों में सामने आने लगे थे. नेताओं के स्वार्थ के चलते दर्जनों एकल और द्विशिक्षकीय शालाएं पूरी तरह शिक्षक विहीन हो गईं. ऐसी शालाओं में अध्यापन सेवा ठप हो जाने से विद्यार्थियों का भविष्य अंधकारमय हो गया है. वहीं अनगिनत पात्र शिक्षक शिक्षिकाओं को क्रमोन्नति एवं पदोन्नति के लाभ से वंचित होना पड़ा. पति - पत्नी, दिव्यांग और असक्त शिक्षक शिक्षिकाओं का तबादला अलग - अलग तथा दूरस्थ व सुविधा विहीन गांवों की शालाओं में कर दिया गया. क्योंकि उनकी पूर्ववर्ती शालाओं को नेताओं की सेवा करने वाले शिक्षक शिक्षिकाओं के लिए खाली जो करना था.

काउंसिलिंग से मिलेगा इंसाफ
नेताओं के भ्रष्ट आचरण और स्वार्थ के चलते पदोन्नति, पदस्थापना और स्थानांतरण में जिन पति – पत्नी, दिव्यांग, असक्त और पात्र शिक्षक शिक्षिकाओं के साथ जो नाइंसाफी हुई है, उसकी भरपाई काउंसिलिंग प्रक्रिया के जरिए नए सिरे से पदोन्नति, पदस्थापना और स्थानांतरण कर ही की जा सकती है. पीड़ित दर्जनों शिक्षक शिक्षिकाओं, शाला विकास समितियों से जुड़े लोगों तथा पालकों ने छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री, शालेय शिक्षा मंत्री, शिक्षा सचिव, संचालक लोक शिक्षण तथा बस्तर के जनप्रतिनिधियों से काउंसिलिंग के माध्यम से तमाम प्रक्रियाएं फिर से पूर्ण कराए जाने की मांग की है. ऐसा करने से वे चेहरे भी बेनक़ाब हो जाएंगे, जिन्होंने असली हकदार शिक्षक शिक्षिकाओं का हक़ मारा है तथा अपनी पार्टियों की साख को नुकसान पहुंचाया है. इन नेताओं की करतूत से दोनों ही राष्ट्रीय पार्टियों की छवि धूमिल हुई है. इससे ना सिर्फ ग्रामीण असंतुष्ट हैं बल्कि दोनों दलों के मैदानी कार्यकर्ताओं में भी खासी नाराजगी देखी जा रही है.
बघेल – कश्यप ने की उगाही
सूत्र बताते हैं कि बकावंड विकास खंड में बस्तर जिले के एक बड़े कांग्रेस नेता के बघेल सरनेम वाले रिश्तेदार जो कि शिक्षा विभाग का ही मुलाजिम है, ने अपने रिश्तेदार नेता के रसूख के दम पर तथा भाजपा के कश्यप सरनेम वाले एक नेता ने अपनी पहुंच की आड़ में शिक्षक शिक्षिकाओं से जमकर वसूली की है. इन लोगों ने अपनी स्वार्थपूर्ति के लिए अपने रिश्तेदार नेता के दल तथा भाजपा नेता ने अपनी पार्टी की नीतियों, सिद्धांतों को भी तिलांजलि दे दी. बघेल सरनेम वाले मुलाजिम ने अपने रिश्तेदार नेता की ही पार्टी की सरकार और बेदाग मुख्यमंत्री भूपेश बघेल की साफ सुथरी छवि को धूमिल करने में कोई कसर बाकी नहीं रखी. वहीं कश्यप सरनेम वाले नेता ने उस भाजपा की नाक कटवाने में कोई कमी नहीं की है, जो कांग्रेस पर भ्रष्टाचार की जननी होने का आरोप लगाते नहीं थकती. इनकी करतूत ने दोनों दलों की अच्छी खासी किरकिरी जनमानस के बीच करा दी है.