महिला आरक्षण स्वागत योग्य कदम : शिरोमणि माथुर

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  •  नारी शक्ति वंदन अधिनियम पास होने से बहुत खुशी हुई

दल्लीराजहरा छत्तीसगढ़ की वरिष्ठ साहित्यकार और समाजसेविका डॉ. शिरोमणि माथुर ने महिला आरक्षण बिल नारी शक्ति वंदन अधिनियम को स्वागत योग्य पहल बताते हुए बिल पारित होने पर खुशी जताई है। उन्होंने कहा है कि महिलाओं के हित में लाया गया विधेयक सर्वदा प्रशंसनीय है। भारत की महिलाएं लंबे समय से समाज में उपेक्षित रही हैं। उनका स्थान दोयम दर्जे का रहा है। कुछ क्षेत्रों में उन्हें ज्यादा ही परेशानी का सामना करना पड़ता रहा है।

डॉ. शिरोमणि माथुर ने कहा है कि इस नए कानून के बन जाने से महिलाओं में आत्मविश्वास बढ़ेगा और उन्हें कुछ नया करने की प्रेरणा भी मिलेगी। यह दिन स्वर्ण अक्षरों में लिखे जाने योग्य है। उन्होंने कहा – मैने नारी जागरण और सामाजिक विकास के लिए लंबे समय तक काम किया है। पहले हम महिलाएं अपने लिए सिर्फ 10 प्रतिशत आरक्षण की मांग करती थीं। राजीव गांधी ने स्थानीय निकायों में महिलाओं को आरक्षण दिलाया, जिससे उनमें बड़ी जागरूकता आई। अब नए कानून से महिलाओं में नया उत्साह जागेगा और देश के विकास में वे बढ़ चढ़कर योगदान दे सकेंगी।

डॉ. माथुर ने कहा कि हमारी इच्छा है कि आरक्षण को 33 प्रतिशत से बढ़ाकर 50 प्रतिशत किया जाए, लेकिन जो भी मिला है, वो स्वागत योग्य है। हमारी संसद और सरकार बधाई के पात्र है।