- डूबते सूरज को अर्ध्य देने गंगा मुंडा तालाब पर उमड़ी व्रतधारियों की भीड़
जगदलपुर मां दंतेश्वरी की पावन नगरी जगदलपुर में छठी मैया और सूर्यदेव के जयकारे गूंजने लगे हैं। छठ महापर्व का आगाज अपार श्रद्धा के साथ हो चुका है। छठ महापर्व के पहले दिन डूबते सूरज को अर्ध्य देने व्रती और आम उपासकों की भारी भीड़ उमड़ी।
बिहार मूल के लोगों की आस्था का महापर्व छठ जगदलपुर में भी बड़ी धूमधाम से मनाया जाता है। बिहार के लोगों की बड़ी आबादी जगदलपुर में दशकों से निवासरत है। ये लोग अपने हर पर्व त्यौहार को बड़े ही धूमधाम से मानते हैं। खासकर सूर्य देव और छठी मैया की उपासना के महापर्व छठ को लेकर इन लोगों में भारी उत्साह रहता है। छठ महापर्व के पहले दिन बिहार मूल के लोगों का उत्साह देखते ही बन रहा था। छठ महापर्व के पहले दिन डूबते सूर्य देव को अर्ध्य देने की रस्म पूरे विधि विधान और आस्था के साथ निभाई गई। सूरज ढलने के साथ ही यहां गंगा मुंडा तालाब के किनारे व्रत रखने वाले तथा अन्य लोगों की भीड़ जुटना शुरू हो गई थी। बच्चे, युवा, महिलाएं, बुजुर्ग सभी तालाब में पहुंचे थे। छठ महापर्व के मौके पर बिहार मूल के निवासियों नेडूबते सूरज को अर्ध्य देकर अपनी संतान की लंबी उम्र और परिवार की सुख शांति एवं खुशहाली की कामना की। इस महापर्व का उल्लास चार दिनों तक चारों ओर बिखरा रहता है। अंतिम दिन उगते सूरज को अर्ध्य देकर तथा छठी मैया को नमन कर पर्व का समापन किया जाएगा।