इस्लाम के महान सूफी संत गौसे आजम के वंशज सैयद हाशिमुद्दीन अल गिलानी जी इराक से जगदलपुर बस्तर आगमन

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आप ईराक के पहले प्रधानमंत्री अब्द अल रहमान अल गिलानी के पर पोते है

19 मार्च 2022 शनिवार को इराक से महान सूफी संत हज़रत अब्दुल कादिर जीलानी “गौसे आजम” जिनका मजार शरीफ बगदाद शरीफ इराक में है, उनके वंशज सयैद हाशिमुद्दीन अल गिलानी अल बगदादी का जगदलपुर बस्तर छत्तीसगढ़ में आगमन हो रहा है, आप 12:10 में जगदलपुर एयरपोर्ट पहुचेंगे जहां पर उनका जोरदार स्वागत किया जाएगा उसके पश्चात आप स्थानीय मुस्लिम कब्रिस्तान में जाकर कार्यक्रम में शामिल होंगे, इसके बाद रात में स्थानीय जमाल मिल ग्राउंड में एक बहुत बड़ा आयोजन होगा, इस कार्यक्रम में शामिल होने के लिए देश के विभिन्न राज्यों से लोग आ रहे हैं, जिनके रुकने एवं खाने-पीने की व्यवस्था आम मुस्लिम जमात जगदलपुर की तरफ से किया जा रहा है।

आप सूफी संत गौसे आजम की 19वीं पीढ़ी हैं ज्ञात हो गौसे आजम को “मानवता और भाईचारे के पैगाम के लिए पूरे विश्व में जाना जाता है, भूखों को खाना खिलाना और बेसहारों की मदद करना जैसी शिक्षा आपकी मुख्य सीखो में से एक है, आज भी पूरे दुनिया में मुस्लिम समाज ग्यारहवीं के नाम से उनके नाम पर लंगर खिलाता है, हिंदू मुस्लिम सिख ईसाई हर वर्ग हर समाज के लोगों से मोहब्बत करना” इसी पैगाम को लेकर उनके वंशज बस्तर की भूमि पर आ रहे हैं, जो हम सभी के लिए गर्व की बात है।