- माइनिंग घोटाले की आंच पहुंची बस्तर तक, कभी भी तलब किए जा सकते हैं संभाग के चारों अफसर
- डीएमएफ की रकम के खर्च और खदान आवंटन से जुड़े दस्तावेज खंगाले जाने की खबर
अर्जुन झा
जगदलपुर प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही छ्ग में खदान घोटाले जांच की आंच बस्तर तक पहुंच गई है। बस्तर संभाग के भी चार बड़े अधिकारी ईडी के रडार पर आ चुके हैं। इन अफसरों को कभी भी ईडी दफ्तर में तलब किया जा सकता है। खबर है कि ईडी के साथ-साथ इनकम टैक्स के अधिकारी भी बस्तर, कोण्डागांव, कांकेर व दंतेवाड़ा जिलों में माईनिंग और डीएमएफ से जुड़े दस्तावेज और फाईलें खंगाल रहे हैं। खदान आबंटन में करोड़ों की लेनदेन की खबर दिल्ली तक पहुंच चुकी है। अब इस मामले से जुड़े अफसरों की परेशानियां बढ़ती जा रही हैं। खनिज विभाग के साथ बस्तर संभाग में लोक निर्माण, वन विभाग, स्वास्थ्य विभाग एवं शिक्षा विभाग में बड़े घोटाले का खेल चल रहा है। छग में लगातार घोटाले की परतें खुलने के बाद माईनिंग घोटाले की आंच बस्तर तक पहुंच चुकी है। ईडी की जांच प्रक्रिया के दौर में बस्तर संभाग के भी चार बड़े अफसरो के साथ ही खनिज विभाग के भी अधिकारी ईडी के रडार पर हैं। इन संदेही अधिकारियों की कुंडली खंगालने की कवायद हाई लेवल पर शुरू हो चुकी है। राजधानी में की गई छापेपार कार्रवाई के दौरान बरामद दस्तावेजों में कुछ ऐसे तथ्य सामने आए हैं कि बस्तर संभाग के अफसरों से भी इस घोटाले के तार जड़े हैं। इसी के बाद बस्तर के चार अफसर ईडी के रडार पर आए हैं। कोरबा से बस्तर आए जिला खनिज अधिकारी से हुई पूछताछ के बाद ईडी के अधिकारी माईनिंग और डीएमएफ के दस्तावेज खंगालकर घोटाले का पर्दाफाश करने में जुट गए हैं। वहीं इस मामले से जुड़े अधिकारी बचने के लिए जोड़तोड़ में लग गए हैं।
खदान घोटाले में करोड़ों का खेल
दंतेवाड़ा जिले की बैलाडीला लौह अयस्क खदान में एक कंपनी को एनओसी देने एवं कांकेर जिले में माईनिंग लीज देने में करोड़ों का भ्रष्टाचार होने के सबूत मिलने के बाद ईडी के अधिकारी इन मामलों से जुड़े एक-एक दस्तावेज की बारीकी से जांच करने में जुट गए हैं। खबर है कि खनिज विभाग के अधिकारी आवंटन में हुई सौदेबाजी में भागीदार बनकर मालामाल हो गए हैं। ये अधिकारी अब वर्तमान में दीगर जिलों में अपनी पदस्थापना भी करा चुके हैं। खनिज घोटाले में अफसरों के साथ ही खनिज अधिकारी ने भी बराबर की भूमिका निभाई है। ईडी को मिले दस्तावेजों में इसका खुलासा होने की खबर है। दस्तावेजों की पड़ताल पूरी होते ही ईडी बस्तर अंचल के अफसरों को कभी भी तलब कर सकताहै।
अटकी माईनिंग की फाइलें
खनिज मामले से जुड़े बस्तर अंचल की कई फाईलें राजधानी के दफ्तर में लंबे समय से अटकी हैं । एक आईएएस अफसर के घर छापेमारी के बाद उक्त दफ्तर की सारी फाईलें धूल खा रही हैं। महिला आईएएस अफसर की बेहद करीबी रिश्तेदार है उक्त दफ्तर के डायरेक्टर हैं, जहां खनिज से संबंधित मामलों की सुनवाई की जाती है। विगत छह माह से सुनवाई नहीं होने के कारण बस्तर सहित प्रदेशभर की कई फाईलें इस दफ्तर में अटकी हुई हैं। राज्य सरकार भी जनता से जुड़े मामलों पर ध्यान नहीं दे रही है। इसके चलते लोगों में भारी आक्रोश है। भाजपा नेता ने पीएमओ को लिखा पत्र*बस्तर संभाग के कुछ अफसरों के ईउी के रडार में होने की चर्चा के बाद बस्तर अंचल के एक भाजपा नेता ने पीएमओ कार्यालय को पत्र लिखकर ऐसे विवादित अफसर जो खनिज घोटाले में संलिप्त हैं, उन्हें बस्तर अंचल के महत्वपूर्ण पदों से हटाने की मांग की है। ताकि मामले की पड़ताल में रूकावट न आ सके। उन्होंने पत्र में लिखा है कि ऐसे भ्रष्ट अधिकारी अपने पदों पर रहते दस्तावेजों से छेड़छाड़ कर सकते हैं ।