कामों की फेहरिस्त इतनी बड़ी फिर क्यों हारे पहाड़ जैसे अंतर से

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  • सच्चाई का सामना करने की बजाय चमचागीरी में जुटे भाजपा नेता
  • जगदलपुर के कारण हारे थे बस्तर की सभी सीटें और गंवाई थी प्रदेश की सत्ता

जगदलपुर बस्तर भाजपा के कुछ नेता सच्चाई का सामना करने की बजाय अब भी अपने आकाओं को खुश करने में जुटे हैं जबकि सच्चाई यह है कि उनका दौर समाप्त हो चुका है। भाजपा के ऐसे नेताओं को यह एहसास भी नहीं है कि यदि पूर्व विधायक के कार्यों की फ़ेहरिस्त इतनी ही लंबी थी तो वे पहाड़ जैसे अंतर से चुनाव क्यों हार गए थे? खूंटपदर से पैदा की गई कतिपय नेताओं की रंजिश ने समूचे बस्तर ही नहीं पूरे प्रदेश में भाजपा की लुटिया डुबोने का काम किया था, यह बात समस्त जनता जान रही है, केवल चंद भाजपा नेताओं को हजम नहीं हो रही है। बस्तर जिला कांग्रेस कमेटी विधि प्रकोष्ठ अध्यक्ष अवधेश झा ने जारी बयान में कहा है कि पिछले चुनाव में जगदलपुर से शुरु हुए जनमत ने बस्तर संभाग ही नहीं सारे प्रदेश में भाजपा को धराशायी कर दिया था। अब जबकि छत्तीसगढ़ में भी भाजपा के गुजरात फार्मूले को लागू करने की चर्चा है तो ऐसे कुछ नेताओं ने जन आक्रोश रैली व अन्य तरीकों से खबरों में बने रहने का सहारा लिया हुआ है जिनकी टिकट कटनी तय है। पिछले चुनाव में पहाड़ जैसे अंतराल से पराजित होने वालों के द्वारा टिकट की उम्मीद पालने से यह संकेत भी मिल रहे हैं कि भाजपा में नेताओं का कितना टोटा है?

भ्रष्टाचार को रिजेक्ट कर विकास पर मुहर लगा रह जनता

झा ने जारी बयान में कहा है कि पिछले चार साल से भाजपा के भ्रष्टाचार को रिजेक्ट कर जनता विकास पर मुहर लगा रही है। मुख्यमंत्री के नेतृत्व में क्षेत्रीय विधायक के द्वारा करवाए जा रहे विकास कार्यों से चिढ़ने की बजाय भाजपा नेता हकीकत को स्वीकार करें ? भ्रष्टाचार के आरोप में जनपद पंचायत की कुर्सी से हटाए गए नेता का प्रलाप और मजबूरी समझी जा सकती है कि क्यों उसे दूसरे भ्रष्टाचारी के समर्थन में बयान देना पड़ रहा है। भ्रष्टाचार का बचाव करने की जगह इन्हें यह भी समझना चाहिए कि जनता यह सब देख, सुन और समझ रही है। भाजपा ने 15 साल के शासनकाल में कितना और किनका विकास किया, यह सभी देख रहे हैं ? कांग्रेस के मात्र चार साल के विकासपरक, जनोपयोगी व जनोन्मुख कार्यों देख कर भाजपा हतप्रभ, हैरान व परेशान है।